एक तुम्ही आधार गुरुवर


एक तुम्ही आधार गुरुवर

भक्ति की ज्योत जगा दे मेरे गुरुवर
दुर्गुण दोष भगा दे मेरे गुरुवर
मूढ़ता सबकी हरने वाले  
तुम ही सच्चा सार
एक तुम्ही ..........

पावन निर्मल हैं मेरे गुरुवर
ईश की मूरत हैं मेरे गुरुवर
सबमें करुणा करने वाले
तुम ही हो करतार
एक तुम्ही ..........

सबका हित करते मेरे गुरुवर
सबका मंगल करते गुरुवर
सबको मार्ग दिखने वाले
वंदन बारम्बार
एक तुम्ही
 ..........

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